कटनी जंक्शन -जिले के उपनगरी माधव नगर स्थित ग्राम पंचायत इमलिया में श्री राम सलोनी भंडार’ में खुलेआम जहरीला पदार्थ ‘सलोनी’ के नाम पर लोगों को खुली चुनौती देते हुए संबंधित अधिकारियों से सांठ-गांठ कर बेचा जा रहा है। ग्रामीणों का आरोप है कि इस दुकान पर मिलने वाली सलोनी किसी भी सरकारी मानक या गुणवत्ता परीक्षण पर खरी नहीं उतरती।
सलोनी कारखाना संचालक खुलेआम उड़ा रहा नियमों की धज्जियां
सरकारी नियमों के अनुसार किसी भी खाद्य या उपभोग्य पदार्थ की बिक्री बिना लाइसेंस,ब्रांडिंग और लेबलिंग के नहीं की जा सकती लेकिन इमलिया ग्राम पंचायत के इस भंडार में ये सभी नियम बेअसर साबित होते हुए दिखाई दे रहे हैं। यहां बिना लाइसेंस नंबर,बिना निर्माता और बिना किसी टोल फ्री नंबर के नाम और बिना किसी एक्सपायरी डेट और बिना किसी प्रमाण पत्र के सलोनी खुले में बेची जा रही है।
ग्रामीणों की शिकायत और संचालक पर गंभीर आरोप
स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि यह सलोनी सेहत के लिए हानिकारक है और कई लोगों को इसके सेवन के बाद पेट दर्द और उल्टी जैसी शिकायतें हुई हैं।
प्रशासन मौन क्यों?
चौंकाने वाली बात यह है कि खाद्य सुरक्षा विभाग और स्थानीय प्रशासन दोनों इस पूरे मामले में मौन हैं।ना तो किसी प्रकार की जांच की गई है और ना ही किसी अधिकारी ने मौके पर पहुंचने की जहमत उठाई है। इससे यह सवाल उठता है कि आखिर किसका संरक्षण प्राप्त है इस अवैध कारोबार को संचालन करने में ?
कानूनी प्रावधान
भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम (FSSAI Act, 2006) के अनुसार बिना पंजीकरण और लाइसेंस के किसी भी खाद्य उत्पाद की बिक्री अपराध की श्रेणी में आती है। इसके लिए जुर्माना और जेल दोनों का प्रावधान है फिर भी कटनी जिले में खुलेआम नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए अनदेखी की जा रही है।
जवाबदेही कब तय होगी?
स्थानीय लोगों ने शासन-प्रशासन से मांग की है कि संबंधित अधिकारियों को सर्वप्रथम दुकान की तुरंत जांच की करना अति आवश्यक है और साथ ही सैंपल लेकर प्रयोगशाला में परीक्षण कराया जाए,
और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जानी चाहिए जिससे आगामी समय में किसी भी स्थिति में अन्य व्यक्ति के द्वारा इस प्रकार का कृत्य नहीं किया जाए।
जबकि आम जनता का सवाल है—> “क्या प्रशासन किसी हादसे का इंतज़ार कर रहा है?”
निष्कर्ष
कटनी जिले के इमालिया ग्राम पंचायत में ‘श्री राम सलोनी भंडार’ का मामला प्रशासन की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवालिया निशान खड़ा करता है।
जहां जनता के स्वास्थ्य से सीधा खेल खेला जा रहा है,वहां शासन की चुप्पी यह संकेत देती है कि या तो अनदेखी हो रही है या फिर संबंधितों का खुला संरक्षण ?
मनोज सिंह परिहार ✍️
8225008012

